July 26, 2024
बाबा साहेब

बाबा साहेब की तुलना किसी और से नहीं की जा सकती: प्रो आरएन दूबे

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रिपोर्ट : रितिक व रौशनी: वजीराबाद रोड स्थित दिल्ली विश्वविद्यालय के डॉ भीमराव अंबेडकर कॉलेज में 16वें बाबा साहेब अम्बेडकर मेमोरियल लेक्चर का आयोजन किया गया।कार्यक्रम के दौरान महाविद्यालय के प्रचार्य प्रो आरएन दुबे ने कहा कि बाबा साहेब देश के एक ऐसे शख्स थे जिनकी तुलना किसी और से नहीं की जा सकती है। उन्होंने समाज के वंचित वर्ग के लिए काम किया।

कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद डॉ. पिसी पतंजलि ने कहा कि डॉ भीमराव अंबेडकर जी के व्यक्तित्व के विषय में छात्रों को ज्ञान होना बेहद आवश्यक है। उन्होंने कहा कि अंबेडकर बहुमुखी प्रतिभा के धनी व्यक्ति थे ,यदि वह दलित समाज से नहीं होते तो देश के प्रधानमंत्री होते। उन्हें केवल संविधान का निर्माता कहना उनके साथ अन्याय होगा। वो देश के निर्माता थे। आज देश के हर शिक्षक हर एक छात्र को बाबा साहेब को पढ़ने की जरूरत है और उन्हें समझ कर अपने जीवन में उतारने की भी ज़रुरत है।

मुख्य वक्ता प्रो. रामशरण जोशी ने अपने संबोधन में कहा कि अंबेडकर ने दुनिया का सबसे लंबा विस्तृत संविधान दिया। अगर आपको नया वर्तमान देखना है तो जरूरी है की युवा पीढ़ी बाबासाहेब के पद चिन्हों पर चले। आज का दौर चरमवाद का है, एक सौ तीस करोड़ देशवासियों को कैसे चलाया जाए इसके लिए अंबेडकर ने अथक परिश्रम किया। सामाजिक स्वतंत्रता राजनीतिक स्वतंत्रता से कई बड़ी होती है। आप सभी बाबा अंबेडकर की पूजा करने की बजाय उन्हें क्रिटिकली समझने की कोशिश करें। साथ ही उन्होंने कहा की हमें जातिवाद पर बौद्धिक बुलडोजर चलाने की जरूरत है, ताकि अंबेडकर के सपनों वाला भारत हमेशा अमर रहे।

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विशिष्ठ अतिथि के रूप में मौजूद हरिओम कौशिक ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा की आज की युवा पीढ़ी ही नए युग का आगाज़ करेगी। हमें अपनी मानसिकता को बदलना पड़ेगा और समाज से जाति नाम का खात्मा करके केवल एक जाति मानवजाति और एक धर्म मानवधर्म रखना होगा।

कार्यक्रम का संचालन डॉ दिलजीत कौर वर्मा ने किया। डॉ बिजेंदर कुमार ने सभी का आभार और धन्यवाद प्रकट करते हुआ कहा कि अंबेडकर जी ने समाज में एक प्रोग्रेसिव सोच दी है। अंबेडकर एक विकल्प नहीं संकल्प है। अंबेडकर एक व्यक्ति नहीं बल्कि एक विचार हैं। एक ऐसा विचार जिनसे आप बहुत कुछ सीख कर अपनी सोच को विकसित कर सकते हैं।

कार्यक्रम में डॉ संजय शर्मा, डॉ नरेंद्र भारती, डॉ मोनिका, डॉ विनीत कुमार, डॉ बिजेंद्र कुमार, डॉ राकेश, डॉ रामप्रकाश, डॉ राजवीर वत्स, डॉ अंजली, डॉ जया वर्मा, डॉ सरला, डॉ रविंद्र, डॉ मालिनी, डॉ विक्टोरिया चानू, डॉ संजय, डॉ रोहित, डॉ संजीव, डॉ तुषार, डॉ नेहा सहित अन्य शिक्षक और विद्यार्थी उपस्थित रहे।